बिजनौर में पंडित दीन दयाल उपाध्याय जिला अस्पताल के बाहर एक गर्भवती महिला दर्द से चिल्लाती रही काफी मन्नते करने के बाद भी अस्पताल प्रशासन महिला को भर्ती करने के लिए तैयार नहीं हुआ। अस्पताल प्रशासन महिला के अंदर खून की कमी बताकर मेरठ रेफर करना चाहते थे जबकि वहां मौजूद महिला के परिजन और अन्य लोग खून देने के लिए तैयार थे। महिला को भर्ती कराने की बात को लेकर अस्पताल परिसर में काफी देर तक हंगामा चलता रहा। मौके पर पहुंचे भारतीय जनता पार्टी के जिला मंत्री को जब मामले का पता चला तो उन्होंने चिकित्साधिकारी से बात कर महिला का भर्ती कराया और अस्पताल में वैक्सीन लगवाने आये कुछ युवकों ने सराहनीय कार्य करते हुए महिला को खून देकर इंसानियत की मिसाल कायम की जबकि भगवान माने जाने वाले चिकित्सकों ने उस महिला को सुबह से शाम तक एडमिट ही नही किया था। अस्पताल में भर्ती होने के एक घंटे के बाद ही महिला ने एक कन्या को जन्म दिया। गौरतलब बात यह है कि इस समय तो भाजपा नेता महिला की मदद के लिए सामने आ गये लेकिन न जाने कितने लोग अस्पताल प्रशासन की लापरवाही के कारण परेशान रहते होंगे। ऐसी मानसिकता के सरकारी कर्मचारी सरकार की छवि को भी धूमिल कर रहे हैं।